वो चालाकियों के गोटी
इशà¥à¤• के बाग में फेंकते रहे।
हम ,नादान उसे पà¥à¤¯à¤¾à¤° समठके
बड़ी शिदà¥à¤¦à¤¤ से दामन में सजाते रहे।।